पिछले कुछ दिनों से श्री आमिर खान के टेलिविजन धारावाहिक – "सत्यमेव जयते" के विभिन्न सोपानों (episodes) का प्रसारण हुआ जिसकी सारे देश में प्रशंसा हुई क्योंकि जो मुद्दे उठाए गए वे सभी बहुत प्रासंगिक हैं और कड़ी मेहनत के बाद ठोस आधारों के साथ प्रस्तुत किये गए हैं। इसी से संबंधित एक वैब साइट www.satyamevjayate.in भी सृजित की गई है और ख़ुशी की बात है कि इसमें हिंदी प्रभाग भी है जो निर्धारित स्थान पर क्लिक करने पर खुलता है। लेकिन खेद की बात यह है कि इस हिंदी प्रभाग में कुछ बहुत ही महत्वपूर्ण शब्दों का हिंदीकरण संभवतः यांत्रिक विधि (by mechanical means like transliteration) से कर दिया गया है उदाहरण के लिये –
India Says को ईन्दिया सेस, most read को मोस्त रेद्, click to give को क्लिक टू गिव और donation को डोनेशन लिखा गया है। यह प्रथा हमें कहाँ ले जायगी, संक्षिप्त टिप्पणी आगे पढ़िये।
अपने देश भारत का नाम अंग्रेज़ी में इंडिया तो अक्सर लिखा और बोला जाता है लेकिन अब तक ईन्दिया कहीं देखने में नहीं आया है। इसी तरह Says को अगर यथावत ही रखना है तो सेज़ लिखना चाहिये और most को मोस्ट लिखना चाहिये। to का सही रूप टु है क्योंकि टू लिखने पर तो यह too को प्रदर्शित करेगा।
ऐसी हिंदी को अंग्रेज़ी नहीं जानने वाले किसी भी हालत में नहीं समझ पाएंगे और एक तरह से यह अपने देश का अपमान व हिंदी भाषा के साथ खिलवाड़ है। इसलिये अच्छा तो यह होगा कि ऐसे यांत्रिक अनुवादों के बजाय तो इन्हें अंग्रेज़ी में ही रहने दिया जावे।
यदि प्रस्तुतकर्ता थोड़ा परिश्रम करते तो इन शब्दों का अनुवाद नीचे लिखे अनुसार कर सकते थे जिससे हिंदी ही जानने वाले इन्हें समझ पाते –
India Says |
को |
भारत कहता है |
most read |
को |
सर्वाधिक पठित |
click to give |
को |
देने हेतु दबाएं |
donation |
को |
चंदा |
हिंदी को हिंग्लिश बनाने के चक्कर में संभावना यह है कि यह एक भाषा न रह कर एक बोली हो जायगी जिसका न कोई शब्दकोश होगा न कोई व्याकरण। इसमें काम लिये जा रहे शब्दों का अर्थ अंग्रेज़ी जानने वाले पाठक भी आसानी से नहीं समझ पाएंगे और केवल हिंदी जानने वाले तो ढूँढने पर भी किसी भी शब्दकोश में खोज पाएँगे।